Importance of Graphics in Multimedia Notes In Hindi – PGDCA | ग्राफिक्स से आप क्या समझते हैं ग्राफिक्स के विभिन्न गुण | Importance of Graphics in Computer | कंप्यूटर ग्राफिक्स के उपयोग | Five Importance of Graphics Design | Types of Graphics in Multimedia pdf | vacter and raster graphics in Hindi.
ग्राफिक इन मल्टीमीडिया (Graphics in Multimedia)
कंप्यूटर की स्क्रीन पर दृश्य, चित्र या डिजाइन को बनाया जाता है उसे हम ग्राफिक्स कहते हैं जिसे हम मनोरंजन के लिए, शिक्षा के लिए या अन्य जानकारी के लिए बनाते हैं Graphics को कंप्यूटर में अनेक प्रकार के सॉफ्टवेयर और तकनीकों की सहायता से बनाया जाता है वर्तमान समय में लगभग सभी स्थानों पर कंप्यूटर ग्राफिक्स का उपयोग होने लगा है।
कंप्यूटर के द्वारा बनाए जाने वाले ग्राफिक्स को ही कंप्यूटर ग्राफिक्स के नाम से जाना जाता है इसकी शुरुआत 1960 में वेरने हडसन और विलियम fetter के द्वारा की गई थी ग्राफिक्स पिक्सेल का एक समूह होता है जिससे उपयोगकर्ता के लिए ग्राफिक्स इंटरफ़ेस तैयार किया जाता है जो किसी वस्तु सामग्री या अन्य जानकारी को अधिक आकर्षित बनाती है।
Importance of Graphics in Multimedia Notes In Hindi – PGDCA
पहले जब कंप्यूटर ग्राफिक्स नहीं था तो हम चित्रों को बनाने के लिए पेपर का यूज करते थे जिसमें पेंसिल, रबड़ और कलर की आवश्यकता होती है लेकिन इसमें यदि चित्र गलत हो जाता है तो रबड़ के माध्यम से उसे मिटा सकते हैं लेकिन गलत रंग भर देने पर वह पेपर या चित्र ही खराब हो जाता है फिर हमें उसी कार्य को दोबारा से शुरू करना पड़ता है जिसमें कि हमें काफी समय लग जाता है और इससे पेपर में काले दाग भी बन जाते हैं इससे बचने के लिए अब हम कंप्यूटर ग्राफिक्स का उपयोग करते हैं जिसके माध्यम से हम कोई भी चित्र को आसानी से कंप्यूटर पर बना सकते हैं उसमें बदलाव कर सकते हैं एडिट कर सकते हैं यह हमें अनेक प्रकार के फीचर्स उपलब्ध कराता है।
इसका उपयोग सामान्य तौर पर पेंटिंग में, इंजीनियरिंग में, गेम्स, वेब डिजाइनिंग में मूवी में किया जाता है।
ग्राफिक्स के प्रकार/Types of Graphics –
कंप्यूटर ग्राफिक्स दो प्रकार के होते हैं –
- इंटरएक्टिव कंप्यूटर, ग्राफिक्स और
- non-interactive कंप्यूटर ग्राफिक्स ।
1. Interactive Computer Graphics :- इंटरएक्टिव कंप्यूटर ग्राफिक वह ग्राफिक्स होते हैं जिसमें उपयोगकर्ता के द्वारा आसानी से बदला व परिवर्तित किया जा सकता है अर्थात उपयोगकर्ता अपने आवश्यकता के अनुरूप इमेज में परिवर्तन कर सकता है।
2. Non-interactive कंप्यूटर ग्राफिक :- Non-interactive कंप्यूटर ग्राफिक्स को पैसिव ग्राफिक्स के नाम से भी जाना जाता हैइस ग्राफिक्स में उपयोगकर्ता के द्वारा किसी प्रकार का कोई भी परिवर्तन या एडिटिंग नहीं की जा सकती अर्थात उपयोगकर्ता इमेज में कोई भी बदलाव नहीं कर सकता केवल उसे देख सकता है।
कंप्यूटर ग्रैफिक्स सॉफ्टवेयर/Computer Graphics Software –
- फोटोशॉप
- कोरल पेंट शॉप
- एडोब लाइटरूम
कंप्यूटर ग्राफिक्स के उपयोग
ग्राफिक्स के उपयोग/Use of Graphic –
शिक्षा में/Education :- ग्राफिक्स की सहायता से किसी भी विषय की जानकारी देना काफी आसान होता है कि किसी भी चीज को ग्राफिक से द्वारा समझाने से वह छात्र को जल्दी और आसानी से समझ आ जाती है।
मनोरंजन में/Entertainment :- गेम टेलीविजन म्यूजिक फिल्म इत्यादि में ग्राफिक्सग्राफिक्स का प्रयोग किया जाता है।
कंप्यूटर ऐडेड डिजाइन /Computer Added Design :- इसकी सहायता से इंजीनियर से के द्वारा स्ट्रक्चर्स बनाए जाते हैं।
वेब डिजाइनिंग में/Web Design :- वेबसाइट में इमेज वीडियो या अन्य में ग्राफिक्स का उपयोग करके हम अपनी साइट को अधिक आकर्षक बना सकते हैं।
प्रेजेंटेशन में/Presentation :- किसी भी प्रेजेंटेशन को तैयार करने के लिए ग्राफिक्स का उपयोग किया जाता है जिससे कि वह प्रेजेंटेशन अधिक आकर्षक हो जाती है।
वीडियो गेम में/Video Games :- वीडियो गेम में जो चित्र चित्र दिखाई देते हैं वह ग्राफिक्स होते हैं जो उपयोगकर्ता को इंटरेक्ट करते हैं सभी गेम ग्राफिक्स की मदद से ही बनाए जाते हैं।
ट्रेनिंग में/Training :- किसी भी व्यक्ति को ट्रेनिंग ग्राफिक्स के माध्यम से दी जाती है जिसमें कंप्यूटर के माध्यम से उस कार्य से संबंधित ट्रेनिंग मॉड्यूल को तैयार किया जाता है जिसे देखकर व्यक्ति ट्रेनिंग ले सकता है।
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